माझ्या कविता
Thursday, February 11, 2021
जिंदगी समझदारी की
आधी जिंदगी गुजर गयी खुदको
समझने में.
फिर भी अभी समझना बाकी है.
दुस्सरोंको क्या समझेंगे
अभी तो जिना भी तो बाकी हें.
#सवा
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